भारतीय टीम के कप्तान रोहित शर्मा ने अपनी नेतृत्व क्षमता से खुद को देश के सबसे सफल कप्तानों में शुमार कर लिया है। रोहित की कप्तानी में भारत ने हाल ही में बेहतरीन प्रदर्शन किया है, और आठ महीनों के भीतर दो आईसीसी खिताब जीतकर इतिहास रच दिया। पहले 2024 में भारत ने उनकी अगुवाई में टी20 वर्ल्ड कप जीता और अब 2025 की चैंपियंस ट्रॉफी में भी टीम ने लगातार पांच मुकाबले जीतकर खिताब अपने नाम किया।
एमएस धोनी के खास क्लब में शामिल हुए Rohit Sharma:
चैंपियंस ट्रॉफी जीतते ही रोहित शर्मा ने पूर्व कप्तान महेंद्र सिंह धोनी के विशेष क्लब में जगह बना ली। रोहित अब भारत के लिए एक से ज्यादा आईसीसी ट्रॉफी जीतने वाले दूसरे कप्तान बन गए हैं। धोनी ने भारत को तीन आईसीसी खिताब दिलाए थे — 2007 में टी20 वर्ल्ड कप, 2011 में वनडे वर्ल्ड कप और 2013 में चैंपियंस ट्रॉफी। वहीं, रोहित ने सौरव गांगुली और कपिल देव को पीछे छोड़ दिया, जिनकी कप्तानी में भारत ने एक-एक आईसीसी खिताब जीता है। रोहित शर्मा चैंपियंस ट्रॉफी जीतने वाले भारत के तीसरे कप्तान बने।
फाइनल में चला Rohit Sharma का बल्ला
Rohit Sharma ने चैंपियंस ट्रॉफी 2025 के फाइनल में अपने बल्ले से शानदार प्रदर्शन किया। टूर्नामेंट में अब तक उनके बल्ले से बड़ी पारी नहीं निकली थी, लेकिन फाइनल में उन्होंने दमदार वापसी की। उन्होंने 41 गेंदों में वनडे करियर का 58वां अर्धशतक जड़ा और टीम को मजबूत शुरुआत दिलाई। Rohit Sharma ने शुभमन गिल के साथ पहले विकेट के लिए 105 रनों की अहम साझेदारी की, जिसने भारत की जीत की नींव रखी। 83 गेंदों में 7 चौकों और 3 छक्कों की मदद से 76 रनों की उनकी पारी ने भारत को खिताब के करीब पहुंचा दिया।
कप्तान के तौर पर शानदार रिकॉर्ड
Rohit Sharma का बतौर कप्तान रिकॉर्ड अंतरराष्ट्रीय क्रिकेट और आईपीएल दोनों में शानदार रहा है। उन्होंने अब तक भारत के लिए 142 मैचों में कप्तानी की है, जिसमें से टीम ने 105 मुकाबले जीते हैं और 33 में हार का सामना किया। इस दौरान उनका जीत का प्रतिशत 73.94 रहा, जो किसी भी कप्तान के लिए सबसे बेहतर है। इस मामले में वह ऑस्ट्रेलिया के महान कप्तान रिकी पोंटिंग से भी आगे हैं, जिनका जीत का प्रतिशत 67.90 है। पोंटिंग ने 324 मैचों में कप्तानी करते हुए 220 मुकाबलों में जीत हासिल की थी।
गिल के साथ बनाई बेहतरीन जोड़ी
रोहित शर्मा और शुभमन गिल की सलामी जोड़ी ने चैंपियंस ट्रॉफी 2025 में भारतीय टीम की सफलता में अहम भूमिका निभाई। रोहित ने आक्रामक अंदाज में खेलते हुए गेंदबाजों पर दबाव बनाया, जबकि गिल ने संयम के साथ शॉट खेलने का तरीका अपनाया। दोनों के बीच की यह तालमेल वाली बैटिंग साझेदारी भारत की जीत की अहम कड़ी बनी। इस जोड़ी ने पूरे टूर्नामेंट में भारतीय पारी को शानदार शुरुआत दी, जो खिताब जीतने में बड़ी मददगार साबित हुई।
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