13वें ओडीआई वर्ल्ड कप (ODI World Cup) की शुरुआत हो चुकी है, 19 नवंबर तक जारी रहने वाले इस विश्व कप में सभी टीमें खिताब जीतने की कोशिश करेंगी। अब तक एक भी बार खिताब जीतने में नाकाम रही साउथ अफ्रीका (South Africa) की टीम भी इन दावेदारों में शामिल है।
इस बार उसका ये प्रयास होगा कि वो चैम्पियन बनने का सपना पूरा कर सकें। साउथ अफ्रीका की टीम हमेशा की तरह इस बार भी मजबूत नजर आ रही है और खिताब की प्रबल दावेदार है।
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साउथ अफ्रीका की दावेदारी इस बार कितनी है मजबूत
ओडीआई विश्व कप में साउथ अफ्रीका का दावा हर बार की तरह ही इस बार भी मजबूत नजर आ रहा है। 1992 में क्रिकेट जगत में प्रोटियाज़ टीम की वापसी के बाद से कई बार ऐसा लगा है कि टीम विश्व विजेता बन सकती है, लेकिन हर बार उसकी किस्मत उसे दगा दे जाती है और वो महत्वपूर्ण मौके पर हारकर खिताब जीतने से चूक जाती है।
इसी कारण क्रिकेट जगत में उसे चोकर का तमगा दिया गया है। इस बार भी उसे विश्व कप शुरू होने से पहले नोर्किया और मगाला जैसे कुछ अहम खिलाड़ियों के अनफ़िट हो जाने के कारण झटके लग चुके हैं। फिर भी बावुमा के नेतृत्व वाली प्रोटियाज़ टीम में इतना दमखम है कि वो खिताब जीत सके। वो चाहेगी इस बार किस्मत उसकी राह में रोड़ा न अटकाए।
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ये कमियाँ टीम के आड़े आ सकती हैं
साउथ अफ्रीका टीम को नोर्किया की कमी भी खलेगी, जो अपनी इंजरी के कारण बाहर हो चुके हैं। प्रोटियाज़ टीम में शामिल गेराल्ड कोएत्ज़ी, रीज़ा हेंड्रिक्स, मार्को जानसन, एंडिले फेहलुकवायो, लिजाड विलियम्स के पास ज्यादा अनुभव नहीं है, उनकी अनुभवहीनता टीम के लिए परेशानी का कारण बन सकता है।
इसके अलावा भारतीय कंडीशन में स्पिनरों को खेलने में दक्षिण अफ्रीका के केवल कुछ ही खिलाड़ियों क्विंटन डी कॉक, डेविड मिलर, हेनरिक क्लासेन, एडेन मार्करम को महारत हासिल है, बाकी बल्लेबाज स्पिनरॉन के आगे जूझते हैं, ये भी उनके लिए दिक्कत की बात हो सकती है।
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साउथ अफ्रीका टीम का मजबूत पहलू
हाल के प्रदर्शन को देखते हुए टीम से अच्छे प्रदर्शन की अपेक्षा की जा सकती है। अफ्रीकी टीम के पास इस बार कप्तान टेम्बा बावुमा, क्विंटन डी कॉक, हेनरिक क्लासेन, एडेन मार्करम, डेविड मिलर, रासी वैन डेर डुसेन जैसे बल्लेबाज हैं, जो शानदार प्रदर्शन कर किसी भी गेंदबाजी टीम को मुश्किल में डाल सकते हैं।
इसके अतिरिक्त केशव महाराज, लुंगी एंगिडी, कगिसो रबाडा, तबरेज़ शम्सी, जैसे अनुभवी गेंदबाज भी मौजूद हैं, जो अपने दम पर टीम को जिताने का माद्दा रखते हैं। इन खिलाड़ियों के बलबूते साउथ अफ्रीका की टीम इस बार अपने ऊपर लगे चोकर के तमगे को हटाने का प्रयास करेगी।
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साउथ अफ्रीका की टीम:
टेम्बा बावुमा (कप्तान), हेनरिक क्लासेन, केशव महाराज, एडेन मार्करम, डेविड मिलर, लुंगी एंगिडी, एंडिले फेहलुकवायो, कगिसो रबाडा, तबरेज़ शम्सी, रासी वैन डेर डुसेन, गेराल्ड कोएत्ज़ी, क्विंटन डी कॉक, रीज़ा हेंड्रिक्स, मार्को जानसन, लिजाड विलियम्स।